नई दिल्ली। जोशीमठ को लेकर स्थानीय लोग चिंतित है। जिसको लेकर सुप्रीम कोर्ट में याचिका भी दायर की गई थी। जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने तत्काल सुनवाई से इनकार कर दिया है। कोर्ट का कहना है कि मामले में सुनवाई 16 जनवरी को होगी। जो कुछ भी महत्वपूर्ण है, उसे कोर्ट में आने की जरूरत नहीं है। इस पर लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित संस्थाएं काम कर रही है।
9 जनवरी को मेंशन की थी याचिका
बता दें यह याचिका स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद की तरफ से दायर की गई थी। चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस पीएस नरसिम्हा की पीठ ने बीते दिन (9 जनवरी) इस याचिका को मेंशन करने के लिए कहा था। वकील परमेश्वर नाथ मिश्रा ने जल्द से जल्द में मामले में सुनवाई की मांग उठाई है।
याचिका में क्या कहा गया है?
याचिका में कहा गया है कि जोशीमठ में आज जो भी हो रहा है वह खनन, बड़ी-बड़ी परियोजनाओं का निर्माण और उसके लिए किए जा रहे ब्लास्ट के चलते हो रहा है। शहर में लंबे समय से भू-धंसाव हो रहा है लेकिन इसे नजरअंजाद किया जा रहा है।
दशकों पुराने मकान छोड़ने को मजबूर लोग
जोशीमठ में नौ वार्ड के 678 मकान ऐसे हैं जिनमें दरारें हैं। सुरक्षा की नजर से दो होटल को आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत बंद किए गए हैं।
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