बुरहानपुर। बुरहानपुर जिले के नेपानगर क्षेत्र में जंगल की अवैध कटाई और वनभूमि पर हो रहे कब्जे को लेकर प्रदेश सरकार का उदारवादी रवैया सामने आया है। शिव महापुराण कथा में शामिल होने आए वनमंत्री विजय शाह ने कहा कि अतिक्रमणकारी विदेश से नहीं आते, वे हमारे ही बीच के आदिवासी हैं। जो जमीन के लालच में जंगलों की कटाई कर रहे हैं, हम उन्हें गोली नहीं मार सकते।
बुरहानपुर जिले में एक दिवसीय दौरे पर आए प्रदेश के वन मंत्री विजय शाह । जँहा पत्रकारों ने सवाल किया था कि अतिक्रमणकारी सैकड़ों हेक्टेयर का जंगल साफ कर चुके हैं, यह सिलसिला अब भी जारी है। उन्हें रोकने के लिए अब तक प्रदेश सरकार ने ठोस कदम नहीं उठाए हैं। हालांकि वनमंत्री विजय शाह ने अतिक्रमणकारियों को चेताते हुए कहा कि वे सरकार की सहनशीलता का इम्तिहान न लें। सरकार ने यदि सख्त कदम उठाए और कोई बड़ी घटना हो गई तो सरकार इसके लिए जिम्मेदार नहीं होगी। इस दौरान वनमंत्री से वनाधिकार पट्टों की उठ रही मांग और लंबित दावों को लेकर भी सवाल किया गया। लेकिन उन्होंने इसे टाल दिया। उन्होंने कहा कि समाज और चौथे स्तंभ को जंगल बचाने के लिए प्रभावी भूमिका निभाने की जरूरत है। बुरहानपुर जिले में 1.90 लाख हेक्टेयर भूमि पर वनक्षेत्र है। वन विभाग की लापरवाही और साठगांठ से करीब 57 हजार हेक्टेयर यानी सवा लाख एकड़ पर कब्जा किया जा चुका है। कब्जेधारी अब इस भूमि पर खेती कर रहे हैं। जानकारों के मुताबिक वनभूमि पर अतिक्रमण करने वाले करीब पांच सौ लोगों के कब्जे में सबसे ज्यादा वनभूमि है। बीते छह माह से नेपानगर क्षेत्र के पानखेड़ा, साईंखेड़ा, घाघरला, बाकड़ी सहित अन्य क्षेत्र के जंगलों में पेड़ों की अवैध कटाई का सिलसिला जारी है। पेड़ काटकर मैदान बनाई गई भूमि पर ट्रैक्टर चलाकर खेती की तैयारी भी कर ली गई है। पानखेड़ा के पास अतिक्रमणकारियों ने सैकड़ों झोपड़े भी तैयार कर लिए हैं। बीते तीन साल में अतिक्रमणकारियों को खदेड़ने पहुंची वन विभाग और पुलिस टीम पर दस से ज्यादा बार हमले हो चुके हैं। जिनमें पुलिसकर्मी और वनकर्मी घायल हो चुके हैं।
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