बच्चों के परिजन के अनुसार, सोम
वार शाम करीब 7.30 बजे शिशु वार्ड में भर्ती बच्चों को CEFTRIAXONE नामक एंटीबायोटिक इंजेक्शन दिया गया। इसके बाद से ही बच्चों की तबीयत ज्यादा बिगड़ने लगी। परिजन का आरोप है कि अस्पताल के डॉक्टर की लापरवाही के कारण यह स्थिति बनी।
कुछ बच्चे पीआईसीयू में भर्ती
सिविल सर्जन डॉ. विनोद नावकर ने बताया कि इंजेक्शन लगने के कुछ देर बाद ही वार्ड में भर्ती लगभग 14 बच्चों की तबीयत बिगड़ गई। उनके परिजन ने बताया कि इंजेक्शन लगने के बाद बच्चों को तेज ठंड लगने लगी। उल्टियां होने लगी और बुखार भी आ गया। बच्चे रोने लगे। तीन बच्चों का स्वास्थ्य अधिक खराब होने के कारण उन्हें पीआईसीयू (पोस्ट ऑपरेटिव आईसीयू) वार्ड में भर्ती किया गया। उनकी हालत में अब सुधार है। इस पूरे मामले में जांच की जाएगी।
परिजन बोले- बहुत देर तक नहीं पहुंचे डॉक्टर
बच्चों के परिजन का आरोप है कि वे परेशान होते रहे, लेकिन काफी देर बाद भी कोई डॉक्टर वहां नहीं पहुंचा। मामले की गंभीरता को देखते हुए मौके पर पहुंचे सिविल सर्जन डॉ. विनोद नावकर ने तुरंत शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. पटेरिया को बुलाकर शिशु वार्ड में भर्ती बच्चों का उपचार शुरू किया।
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