ग्वालियर। ग्वालियर में एक 75 वर्षीय वृद्ध पिता को शराबी बेटा बेरहमी से पीटता था। बेटे के जुल्म की इंतहा तब हो गई जब मारपीट कर उसने पिता को घर से बाहर निकाल दिया। बेबस वृद्ध घाटीगांव एसडीओपी संतोष पटेल के ऑफिस जा पहुंचा।
उस समय डीएसपी पटेल दफ्तर में नहीं थे जिस पर एक कोने में बैठकर पन्नी में लाए पराठे को वृद्ध खा रहा था। जब डीएसपी पहुंचे तो वृद्ध की सादगी और चेहरे पर परेशानी को समझ गए। पहले उनसे बात की फिर एसडीओपी ने बुजुर्ग के बेटे को बुलाकर सख्त लहजे में समझाया । बेटा अपने किए पर शर्मिंदा हो गया और पिता के पैरों में गिर कर नाक रगड़ कर माफी मांगने लगा। एसडीओपी की समझाइश का ऐसा असर हुआ कि बीते 8 दिन से उनके घर में पूरी तरह शांति है सोशल मीडिया पर अब यह पोस्ट काफी वायरल हो रही है।
परेशान था परिवार
दरअसल ग्वालियर जिले के आरोन गांव में रहने वाले 75 साल के मिश्री लाल जाटव अपने बेटे की करतूत से परेशान थे। बेटा सोनू जाटव अपने पिता मिश्रीलाल के साथ बदतमीजी करता था और शराब के नशे में मारपीट भी करता था। बुजुर्ग मिश्रीलाल ने कई बार आरोन थाने में बेटे की शिकायत की लेकिन कोई हल नहीं हुआ। पुलिस ने भी पारिवारिक मामला बताकर इसमें दखल देने से इनकार कर दिया था। करीब 1 सप्ताह भर पहले बुजुर्ग मिश्रीलाल घाटीगांव एसडीओपी संतोष पटेल के दफ्तर में अपनी फरियाद लेकर पहुंचे। मिश्रीलाल ने बताया कि उनका बेटा सोनू शराब के नशे में अपनी मां के साथ मारपीट करता है। समझाने पर पिता और भाई के साथ भी हाथापाई पर उतर आता है । सोनू पिछले कई दिनों से जमीन अपने नाम कराने की बात को लेकर घर में झगड़ा और मारपीट कर रहा है।
पुलिसिया अंदाज में समझाया
एसडीओपी संतोष पटेल ने पहले तो सोनू को अपने पुलिसिया लहजे में समझाइश दी फिर सोनू और उसके पिता को बैठाकर आपस में बात करवाई। बातचीत के दौरान सोनू को अपनी गलती का अहसास हुआ फिर वह अपने पिता के पैरों में सिर रखकर माफी मांगने लगा। पुलिस ने थाने से दोनों पिता-पुत्र को घर पहुंचा दिया इस घटना को 8 दिन का वक्त दिया गया और अब घर में शांति का माहौल है।
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