2014 के पहले देश में 90 हज़ार मेडिकल की सीटे हुआ करती थी। मोदी सरकार आने के बाद 8 वर्षो में 60,000 से अधिक नए मेडिकल सीटें निर्मित हुई। इसी क्रम में छत्तीसगढ़ में नए मेडिकल कॉलेज खोलने के लिए केंद्र 60% से अधिक राशि दे कर नए मेडिकल कॉलेज का निर्माण करवा रहा है। परंतु राज्य सरकार की लापरवाही और राज्य अंश देने में देरी के कारण से महासमुंद कांकेर और कोरबा के मेडिकल कॉलेज की बिल्डिंग का निर्माण कार्य प्रारंभ नहीं हो रहा है। मेडिकल कॉलेज के मान्यता के संदर्भ में नेशनल मेडिकल कमिशन की टीम शीघ्र ही छत्तीसगढ़ का दौरा करने वाली है। सरकार की लापरवाही के कारण कहीं मान्यता संबंधी कोई परेशानी आ गई तो छत्तीसगढ़ के बच्चों का हक मारा जाएगा ।
भूपेश सरकार को भ्रष्टाचार और कमीशन खोरी से ऊपर उठकर छत्तीसगढ़ के छात्रों व स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए शीघ्र राशि जारी कर बिल्डिंग निर्माण कार्य प्रारंभ करवाना चाहिए।
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