डेंगू और चिकनगुनिया के 50 मरीज़ मिल चुके हैं।लेकिन स्वास्थ्य विभाग कि मच्छर जनित बीमारियों से निपटाने की तैयारी शून्य है।
हालात यह है कि JP अस्पताल से लेकर हमीदिया अस्पताल तक का डेंगू का वार्ड अब तक तैयार नहीं किया है। मच्छरों से बचाव के लिए न तो बैड आरक्षित है,ओर न ही मरीज़ों के बेड पर मच्छरदानी लगायी गई है।हॉट स्पॉट बनने वाले वॉर्डों में लार्वा सर्वे भी ठीक से नहीं हो पाया है। इससे साफ़ है कि जैसे जल भराव होगा तो डेंगू और मलेरिया बढ़ेगा। जिस से निपटने के लिए अभी स्वास्थ्य विभाग का अमला पूरी से तैयार नहीं दिखाई दें रहा है।
अलग वार्ड बनाया
जेपी अस्पताल के सिविल सर्जन डॉक्टर राकेश श्रीवास्तव दावा है की डेंगू का अलग वार्ड तैयार कर लिया है।सभी तरह की सुविधाएँ भी उपलब्ध हैं,इधर सीएमएचओ डॉ.प्रभाकर तिवारी ने बताया की डेंगू को लेकर स्वास्थ्य विभाग की तैयारियां पूरी हैं।सीएमएचओ ने अपील करते हुए कहा कि अपने घर के आस पास पानी इकट्ठा न होने दे,जिससे से डेंगू चिकनगुनिया से बचाव हो साके।वही जिला मलेरिया अधिकारी अखिलेश दुबे ने बताया कि शहर में डेंगू नियंत्रण में हैं बारिश को देखते हुए रोकथाम के लिए गतिविधियों को तेज कर दी है।
अलग रखते हैं मरीजों को
मच्छर जनहित बीमारी से ग्रस्त मरीजो को सामान्य बीमारी से अलग रख जाता है क्योंकि चिकनगुनिया ,मलेरिया डेंगू से पीड़ित मरीज़ को कोई मच्छर काटता है..और वहीं मच्छर ओर दूसरे मरीज़ को काटता है तो उसे डेंगू और मलेरिया का प्रसार हो जाता है।इस चैन को तोड़ने के लिए हॉस्पिटलो में वार्ड तैयार नही हैं।
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